Gold Price

Gold Price Update क्या अब थमेगी तेजी? Motilal Oswal ने दिया बड़ा संकेत

Gold Price अब Consolidation Phase में? 

Motilal Oswal Financial Services (MOFSL) ने अपनी लेटेस्ट Gold Strategy Report में कहा है कि सोने की कीमतें अब Consolidation Phase में प्रवेश कर सकती हैं। इसका मतलब है कि पिछले कुछ सालों में जबरदस्त तेजी दिखाने के बाद अब सोने के भाव सीमित दायरे में रह सकते हैं।

 6 साल में 200% से ज्यादा Return, अब क्या धीमे पड़ेगी रफ्तार?

2019 में भारत में सोने की कीमत ₹30,000 प्रति 10 ग्राम के आसपास थी। लेकिन जुलाई 2025 में यह बढ़कर ₹1,00,000 के पार पहुंच गई — यानी 6 साल में 200%+ रिटर्न
MOFSL का मानना है कि अब बाजार में जो प्रमुख जोखिम और अनिश्चितताएँ थीं, वो पहले ही भावों में शामिल हो चुकी हैं। यानी नई तेजी के लिए कोई नया ट्रिगर ज़रूरी है।

 लगातार Bullish रहने वाला Motilal Oswal अब सतर्क

पिछले कई वर्षों में MOFSL ने गोल्ड को लेकर एक मजबूत Bullish Outlook बनाए रखा। कंपनी ने हर तिमाही और सालाना रिपोर्ट में अपने Price Targets को बार-बार अपग्रेड किया।
पिछली रिपोर्ट में जहां ₹98,000 का अनुमान था, वहीं अब भाव ₹1.02 लाख तक पहुंच चुके हैं। अब कंपनी का कहना है कि मौजूदा रेट में “बहुत कुछ पहले से शामिल” हो चुका है।

Gold Price 

मानव मोदी का बयान “अब चाहिए बड़ा और निर्णायक Trigger”

MOFSL के Precious Metal Analyst मानव मोदी ने साफ कहा:

“अब सोने में अगली बड़ी तेजी के लिए किसी मजबूत और निर्णायक ट्रिगर का इंतजार करना होगा। तब तक ये भाव सीमित दायरे में रह सकते हैं।”

 तेजी रुकने के पीछे ये हैं 6 प्रमुख कारण – MOFSL रिपोर्ट से

1. Geopolitical Risk पहले से गिना जा चुका है

Israel-Iran और Russia-Ukraine जैसे संघर्ष पहले ही भावों में शामिल हैं।

2. Tariff War में ठंडक

Donald Trump के समय जो Tariff Tensions थे, उनमें अब काफी कमी है।

3. Interest Rate कटौती की उम्मीदें धुंधली

US में Interest Rates में कटौती की संभावना अभी टली हुई है, जिससे Gold Rally को सपोर्ट नहीं मिल रहा।

4. Central Bank की खरीदारी धीमी

भारत और चीन जैसे देश अभी भी Gold खरीद रहे हैं, लेकिन रफ्तार कम हो गई है।

5. Dollar Index का असर अब सीमित

De-dollarisation ट्रेंड पहले ही Gold को बढ़ा चुका है, अब नया कुछ नहीं बचा।

6. Market Fatigue के संकेत

लगातार ऊंचे रिटर्न से बाजार में थकावट दिखने लगी है, जो संकेत करता है कि अब निवेशक सतर्क हो गए हैं।

 क्या तेजी अब इतिहास बन जाएगी?

MOFSL के मुताबिक, पिछले 25 वर्षों में COMEX Gold ने कभी भी 32% से ज्यादा का Annual Return नहीं दिया। जबकि मौजूदा रैली में यह आंकड़ा 30% के पार चला गया है। यानी यहां से बड़ी तेजी की संभावना कम है या सीमित है।

 Tactical Investors के लिए चेतावनी ₹96,000 है अहम स्तर

MOFSL ने साफ कहा है कि यदि Gold ₹96,000 प्रति 10 ग्राम के नीचे बंद होता है, तो Long Position रखने वाले निवेशकों को:

  • आंशिक Exit

  • या Hedge करने पर विचार करना चाहिए।

 क्या फिर आएगी नई तेजी? जानिए कब बदलेगा रुख

MOFSL का मानना है कि अगर कोई नया ट्रिगर सामने आता है — जैसे:

  • कोई बड़ा Geopolitical Shock

  • Central Bank की बड़ी दखलंदाज़ी

  • या Dollar का Crash

तो Gold में फिर से तेज़ी का नया दौर शुरू हो सकता है।
तब तक निवेशकों को सतर्कता और धैर्य रखने की सलाह दी गई है।

 निष्कर्ष अब जल्दबाज़ी नहीं, समझदारी से करें निवेश

Gold ने बीते वर्षों में शानदार रिटर्न दिए हैं, लेकिन अब बाजार एक संतुलन के दौर में है। ऐसे में निवेशकों को बिना किसी Panic या जल्दबाज़ी के साथ, लॉन्ग टर्म पोजिशनिंग और ट्रिगर्स पर नजर रखते हुए काम करना होगा।

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