क्या हुआ है Gensol Engineering के साथ?
SEBI ने Gensol Engineering और उसके प्रमोटर्स – Anmol Singh Jaggi और Puneet Singh Jaggi पर सख्त बैन लगाया है।
अब ये दोनों किसी भी कंपनी में डायरेक्टर या मैनेजमेंट रोल नहीं निभा सकते, और शेयर बाजार में कोई ट्रेडिंग भी नहीं कर सकते।
SEBI को क्या मिला जांच में?
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फंड मिसयूज़
₹977.75 करोड़ के टर्म लोन में से ₹262.13 करोड़ का कोई पुख़्ता हिसाब नहीं मिला। -
EV खरीद में गड़बड़ी
6,400 EVs खरीदने का दावा, लेकिन खरीदी सिर्फ 4,704 गाड़ियाँ।
खर्च भी अपेक्षाकृत कम – ₹567.73 करोड़। -
पैसे का डायवर्जन
बचे पैसे प्रमोटर्स और उनके करीबी संस्थानों को भेजे गए –
Luxury खर्च, रियल एस्टेट खरीद और कैश ट्रांसफर। -
Round-Tripping
Gensol और Go-Auto के बीच एक ही पैसे को घुमाकर असली लेन-देन का दिखावा। -
झूठे EV ऑर्डर्स
30,000 EVs के ऑर्डर का दावा फर्जी – ये सिर्फ Non-Binding MoUs थे। -
फैक्ट्री में नहीं मिला प्रोडक्शन
साइट विजिट के दौरान कोई भी Manufacturing Activity नहीं मिली।
SEBI ने स्टॉक स्प्लिट पर भी लगाई रोक
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Gensol ने हाल ही में 1:10 स्टॉक स्प्लिट का ऐलान किया था, जिसे SEBI ने Retail Investors की सुरक्षा के चलते रोक दिया है।
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दिसंबर 2024 की शेयरहोल्डिंग
रिटेल निवेशकों के पास 35.34% हिस्सा था। -
बड़े निवेशक
Prakash S Jalan, Mukul Mahavir Agrawal जैसे नामी इन्वेस्टर्स भी प्रभावित।
शेयर परफॉर्मेंस भारी गिरावट
अवधि | प्रदर्शन |
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आज (17 अप्रैल) | ₹3.05 (-2.29%) गिरावट |
1 महीना | -45.50% |
1 साल | -86.14% |
52-Week High से गिरावट | -88.52% (₹1,124.90 से ₹130.15 तक) |
निवेशकों के लिए अलर्ट
अगर आपने Gensol में निवेश किया है, तो फंड्स फंसे रहने की आशंका है।
ये मामला लॉन्ग-टर्म तक खिंच सकता है। SEBI की फॉरेंसिक ऑडिट रिपोर्ट अब 6 महीने में आएगी – तब तक Volatility और Regulatory Risk बना रहेगा।